राज्यसभा में एनडीए सबसे बड़ा दल, लेकिन अभी भी बहुमत से दूर
खरी खरी संवाददाता
नई दिल्ली, 28 फरवरी। देश के पंद्रह राज्यों की 56 राज्यसभा सीटों पर चुनाव प्रक्रिया बुधवार को पूरी होने के साथ ही केंद्र में सत्तारूढ़ एनडीए राज्यसभा में सबसे बड़ा दल बन गया है। हालांकि अभी भी वह स्पष्ट बहुमत से 6 सीट दूर है।
राज्य सभा के हालिया चुनाव से केंद्र की सत्ताधारी भाजपा को राज्यसभा में फायदा हुआ है। भाजपा ने 56 राज्यसभा सीटों में से 30 सीटें जीतीं, जिनमें से 20 निर्विरोध जीते जबकि 10 उम्मीदवार चुनाव के जरिए जीते हैं। भाजपा के राज्यसभा सांसदों की संख्या 27 फरवरी यानी मतदान के दिन तक 93 थी, जो अब बढ़कर 95 हो जाएगी। सदन में भाजपा को रालोद के जयंत चौधरी, आरपीआई के रामदास अठावले, जनता दल सेक्युलर के एचडी देवेगौड़ा, असम गण परिषद के बीरेंद्र प्रसाद बैश्य, टीएमसी (मूपनार) के जीके वासन, यूपीपी(एल) के रॉग्वार नारजारी, एनपीपी के डॉ. वानवेइरॉय खरलुखी, शिवसेना के मिलिंद देवड़ा, एनसीपी अजित पवार गुट के प्रफुल्ल पटेल और पीएमके के अंबुमणि रामदास का भी समर्थन हासिल है। भाजपा की सहयोगी जदयू के अभी पांच राज्यसभा सदस्य हैं। इनकी संख्या घटकर चार रह जाएगी। इस तरह सहयोगी दलों के कुल 14 सदस्यों का समर्थन भी भाजपा के पास है। इस तरह सत्ता पक्ष के पास 109 सदस्यों का समर्थन हो जाएगा। यानी, 245 सदस्यों वाले उच्च सदन में एनडीए गठबंधन अभी भी 123 के पूर्ण बहुमत के आंकड़े से दूर रहेगा। सदन में 12 मनोनीत सदस्यों और जम्मू कश्मीर कोटे की चार खाली सीटों को हटा दें तब सदन में यह सदस्य संख्या घटकर 229 हो जाती है। इस स्थिति में बहुमत का आंकड़ा 115 का होता है। इस आंकड़े से भी एनडीए अभी छह सीट दूर है। राज्यसभा की 56 सीटों के लिए चुनाव की प्रक्रिया मंगलवार (27 फरवरी) को पूरी कर ली गई। 27 फरवरी को तीन राज्यों की 15 राज्यसभा सीटों के लिए मतदान कराए गए। इनमें उत्तर प्रदेश, कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश शामिल हैं। उत्तर प्रदेश में सबसे ज्यादा 10 सीटों के लिए, कर्नाटक की चार और हिमाचल प्रदेश की एक सीट के लिए चुनाव हुए। भाजपा के 20 उम्मीदवारों का निर्विरोध निर्वाचन हुआ। उत्तर प्रदेश में पार्टी के सभी आठ उम्मीदवार चुनाव में जीतने में सफल रहे। हिमाचल प्रदेश में संख्या बल नहीं होने के बाद भी पार्टी उम्मीदवार हर्ष महाजन ने जीत दर्ज की। कर्नाटक में भी पार्टी उम्मीदवार को जीत मिली। इस तरह से भाजपा के लिए सीटों की संख्या 30 पहुंच गई है। ऐसे में पार्टी की मौजूदा ताकत 28 में दो सीटों का इजाफा हो गया है।