मंत्री के निर्देशः अनुसूचित जाति के छात्रावास तोड़कर फिर से बनाए जाएंगे
खरी खरी संवाददाता
भोपाल, 2 सितंबर। मध्यप्रदेश के अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री नागर सिंह चौहान प्रदेश में अनुसूचित जाति के पुराने छात्रावासों को तोड़कर नए सुविधा संपन्न नए भवन बनाने की कवायद में जुट गए हैं। उन्होंने सोमवार को मंत्रालय में विभागीय समीक्षा बैठक के दौरान अधिकारियों को इस बारे में प्रस्ताव बनाने के निर्देश दिए।
समीक्षा बैठक में मंत्री नागर सिंह चौहान ने कहा कि अनुसूचित जाति के पुराने छात्रावासों को डिस्मेंटल कर नए भवन बनाए जाने के प्रस्ताव तैयार करने किए जाए, जिससे कोई छात्रावास में घटना निर्मित न हो।मंत्री चौहान ने कहा कि छात्रावासों में सुविधाएं बढ़ाई जाएं, जिससे पालकों को अपने बच्चों को छात्रावासों में भेजने में विश्वास जागृत हो। छात्रावास सुविधा सम्पन्न होंगे, उससे बच्चों को पढ़ाई में मन लगेगा। सभी संभागीय अधिकारी समय-समय पर छात्रावासों का निरीक्षण करें और उसके संबंध में मुझे जानकारी दें।
उन्होंने निर्देश दिए कि सभी छात्रावासों में नवाचार के रूप में टेलीफोन लगाए जाएं, जिससे छात्रावासों में रहने वाले विद्यार्थी अपने पालकों से समय-समय पर बातचीत कर सकें। मंत्री ने अनुसूचित जाति विभाग के विकास संबंधी योजनाएं जैसे छात्रावास संचालन, छात्रवृत्ति प्रदाय, शिक्षा के लिये प्रोत्साहन, अनुदान योजनाएं, प्रशिक्षण एवं स्व-रोजगार, अधोसंरचना विकास और अस्पृश्यता निवारण और अनुसूचित जाति व जनजाति के अधिकारों का संरक्षण की समीक्षा की।
मंत्री कहा कि छात्रवृत्ति के संबंध में बजट प्रविधान बढ़ाया जाए। उन्होंने ज्ञानोदय आवासीय विद्यालय में इंदौर, ग्वालियर, जबलपुर और उज्जैन में परीक्षा परिणाम प्रतिशत कम पाए जाने पर असंतोष व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि इसके लिए ज्ञानोदय आवासीय विद्यालय के प्रिंसिपलों की बैठक बुलाई जाए और उनसे इस बारे में जानकारी ली जाए। अशासकीय अनुदान प्राप्त संस्थाओं में अनुदान की राशि स्वीकृत करने से पहले उसका परीक्षण किया जाए। उन्होंने कहा कि सावित्री बाई फुले स्व-सहायता समूह योजना में छोटे-छोटे व्यवसाय करने वाली महिलाओं को योजना का लाभ दिया जाए। विशेषकर रतलाम, अलीराजपुर, झाबुआ जिले में इस पर अवश्य अमल किया जाए।