भाजपा तोड़फोड़ के दावे ही करती रही, उसके लोग कांग्रेस के साथ हो लिए
खरी खरी संवाददाता
भोपाल, 1 मई। मध्यप्रदेश में भाजपा को लगातार झटके लग रहे हैं। भाजपा दावा ही करती आ रही है कि कांग्रेस के कई विधायक भाजपा के संर्पक में हैं और कभी भी सरकार गिर सकती है। दूसरी तरफ भाजपा के कई दिग्गज नेता पार्टी छोड़कर कांग्रेस में जा रहे हैं। भिंड में चौधरी राकेश सिंह कांग्रेस में चले गए तो भोपाल मे पूर्व विधायक जितेंद्र डागा ने कांग्रेस का हाथ थाम लिया। वहीं गुना में पूर्व मंत्री को के एल अग्रवाल कांग्रेस के साथ हो लिए।
कांग्रेस महासचिव ज्योतिरादित्य सिंधिया का विरोध करने वाले पूर्व मंत्री केएल अग्रवाल ने कांग्रेस का हाथ थाम लिया तो सबको बड़ा आश्चर्य हुआ। शिवराज सरकार में मंत्री रहे कन्हैया लाल अग्रवाल अपने पुत्र सहित सैकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस में शामिल हुए। उन्होंने गुना सांसद सिंधिया की मौजूदगी में कांग्रेस की सदस्यता ली।
केएल अग्रवाल एक बार गुना से व एक बार बमोरी विधानसभा सीट से विधायक रह चुके हैं और भाजपा सरकार में मंत्री भी रहे हैं। 2013 के चुनाव में उन्हें महेन्द्रसिंह सिसौदिया के सामने हार का सामना करना पड़ा था। हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में भी वे बमोरी से टिकट की मांग कर रहे थे, लेकिन पार्टी ने उन्हें टिकट न देकर बृजमोहन किरार पर भरोसा जताया था। जिसके बाद वे भाजपा से बागी होकर बमोरी से निर्दलीय चुनाव लड़े थे। सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के सबसे मुखर विरोधियों में अगर कोई नाम सबसे ऊपर आता है तो वह है पूर्व राज्यमंत्री केएल अग्रवाल का। उन्होंने सांसद को हमेशा निशाने पर लिया। लेकिन सिंधिया के हाथ ही कांग्रेस की सदस्यता लेने से यह साबित हुआ है है कि राजनीति में दोस्ती-दुश्मनी स्थाई नहीं होती। भोपाल में भाजपा के पूर्व विधायक जितेन्द्र डागा मन्नू अपने पांच सौ सांथियों के साथ कांग्रेस में शामिल हो गए। डागा भाजपा सांसद सुषमा स्वराज के कट्टर समर्थक माने जाते थे। इस बार विधानसभा में टिकिट नहीं मिलने से वे नाराज थे।उन्हें भाजपा संगठन में भी कोई पद नहीं मिल पा रहा था। लंबे समय से वे वहां अपने आपको असहज महसूस कर रहे थे। इसके चलते अंतत: वे भाजपा छोड़ कांग्रेस में शामिल हो गए।