दिग्गजों को हराने वाले पहली बार के कई विधायक भी मंत्री पद के दावेदार
खरी खरी संवाददाता
भोपाल, 15 दिसंबर। प्रचंड बहुमत के साथ मध्यप्रदेश की सत्ता में वापसी करने वाली भाजपा और मुख्यमंत्री डा मोहन यादव के सामने मंत्रियों का चयन बड़ी चुनौती है। एक तरफ इस बार पार्टी के कई दिग्गज और अनुभवी नेता विधायक बनकर आए हैं तो कई पहले बार के एमएलए दिग्गजों को हराने के कारण मंत्री पद के दावेदार बन गए हैं। भाजपा हाईकमान इस समय जिस तरह चौंकाने वाले फैसले ले रहा है, उससे लगता है कि पहली बार के विधायकों को भी मंत्रीमंडल में शामिल किया जा सकता है।
भाजपा हाईकमान ने मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में जिस तरह चौंकाने वाला फैसला लिया उससे पहली बार के कई विधायकों में मंत्री बन जाने की उम्मीद जाग गई है। इनमें कोई तो ऐसें है जिन्होंने कांग्रेस के दिग्गज नेताओं को चुनाव मैदान में पटखनी दी है। यही वजह है कि मुख्यमंत्री के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने भोपाल आए कई विधायक अभी भोपाल में ही डेरा डाले हुए हैं। उन्हें लग रहा है कि पता नहीं कब उनकी किस्मत का भी ताला खुल जाए। इसके लिए उनके द्वारा प्रदेश कार्यालय में संगठन के बड़े नेताओं से मिलकर अपना बॉयोडाटा और विधानसभा में जीत के अंतर के साथ ही सामने वाले उम्मीदवार से वजनदार होने की जानकारी दी जा रही है। भोपाल की दक्षिण पश्चिम सीट पर कांग्रेस के दिग्गज नेता पूर्व मंत्री पीसी शर्मा को हराकर भगवानदास सबनानी विधायक बने हैं। वे लंबे समय से संगठन में कई पदों पर काम कर चुके हैं। वे सिंधी समाज से भी आते हैं। उन्हें प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा का करीबी माना जाता है। जबलपुर उत्तर मध्य से अभिलाष पांडे ने कांग्रेस के विनय सक्सेना को पराजित किया है। पांडे भी वीडी शर्मा के विश्वस्त लोगों में माने जाते हैं। शाजापुर से अरुण भीमावत इन्होंने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व मंत्री हुकुम सिंह कराड़ा को पराजित किया है। लहार से अम्बरीश शर्मा ने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह को शिकस्त दी है। उन्हें अब तक अपराजेय माना जाता रहा है। चाचौड़ा से प्रियंका मीणा ने कांग्रेस के नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के भाई लक्ष्मण सिंह को पराजित किया है। मुलताई से चंद्रशेखर देशमुख ने पूर्व मंत्री कांग्रेस नेता सुखदेव पांसे को हराया है। उदयपुरा से नरेंद्र शिवाजी पटेल ने कांग्रेस के विधायक देवेंद्र पटेल को पराजित किया है। कालापीपल से घनश्याम चंद्रवंशी ने कांग्रेस के विधायक एवं पूर्व प्रदेश युवक कांग्रेस अध्यक्ष कुणाल चौधरी को हराया है। मनासा से अनिरुद्ध माधव मारू ने पूर्व मंत्री नरेंद्र नाहटा को पराजित किया है।
बड़े बड़े नामों को चुनाव मैदान में हराने वाले भाजपा के इन युवा चेहरों पर अगर पार्टी दांव लगा दे तो कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए। पार्टी हाईकमान अगर इस तरह का कोई फैसला करता है तो मुख्यमंत्री डा मोहन यादव और पार्टी अध्यक्ष वीडी शर्मा के लिए मुफीद होगा।