कांग्रेस में कलह शुरू, सिंधिया को पीसीसी चीफ बनाने की मांग
खरी खरी संवाददाता
भोपाल, 27 मई। लोकसभा चुनाव में मध्यप्रदेश में कांग्रेस का प्रदर्शन पार्टी के अंदर पांच महीने पहले बनी एकजुटता के लिए बड़ी चुनौती बन गया है। चुनाव में सिंधिया और दिग्विजय सिंह जैसे दिग्गजों की हार और सिर्फ कमलनाथ जैसे नेताओं की जीत ने अंदरूनी घमासान मचा दिया है। ऐसे में अल्पमत वाली सरकार को बचाए रखना कांग्रेस नेतृत्व के लिए ज्यादा मुश्किल हो रहा है। पार्टी के पास एक ही रास्ता बच रहा है कि वह बड़े नेताओं को किसी तरह व्यस्त रखे।
प्रदेश में कांग्रेस के खराब प्रदर्शन व करारी हार के बाद केंद्रीय नेतृत्व नाखुश है। प्रदेश की बिगड़ी स्थिती को सुधारने के लिए एक बार फिर उप मुख्यमंत्री के फॉर्मूले की मांग तेज हो गईं हैं। जिसके चलते शीर्ष नेतृत्व राजस्थान की तरह प्रदेश में भी उप मुख्यमंत्री बनाने कीअटकले तेज हो गई है।जिसके लिए पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया का नामएक बार फिर सुर्खियों में हैं। लोग मांग कर रहे हैं कि सिंधिया को प्रदेश की कमान दी जाना चाहिए। या फिर उन्हें उप मुख्यमंत्री बनाया जाए। गौरतलब है कि विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की सत्ता वापसीके बाद भी कमलनाथ और सिंधिया दोनों नेताओं को बतौर सीएम और डिप्टी सीएमबनाए जाने की चर्चा थी लेकिन सिंधिया इसके लिए राजी नहीं हुए। जिसके बाद कमलनाथ को सीएम बनाया गया। अब लोकसभा चुनाव के परिणाम के बाद संगठन स्तर पर भी बदलाव की अटकलें लगाई जा रही हैं। वहीं दूसरी कमलनाथ में मंत्री इमरती देवी और जीतू पटवारी के बाद अब कांग्रेस सचिव ने भी सिंधिया को प्रदेशाध्यक्ष की कमान सौंपे जाने की बात कही है। इसके लिए उन्होंने राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी को पत्र भी लिखा है और चेतावनी भरे लहजे में कहा है कि सिंधिया को प्रदेशाध्यक्ष बनाओ वरना सभी पदाधिकारी इस्तीफा दे देंगें। कांग्रेस सचिव विकास यादव ने राहुल गांधी को पत्र लिखा है और कहा है कि सरकार में पार्टी कार्यकर्ताओं की नहीं चल रही है, इसलिए लोकसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा है। मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष दो पद एक ही व्यक्ति के पास है, ऐसे में पार्टी कार्यकर्ताओं की बात नहीं सुनी जाती है और कार्यकर्ताओं में नाराजगी है