श्रापित माना जाता है इन नदियों का पानी 

Feb 23, 2024

 

खरी खरी डेस्क 

भोपाल, 22 फरवरी।नदियां न केवल हमारे जीवन के लिए बल्कि पृथ्वी पर सभी जीव-जन्तु और पेड़-पौधों के लिए जीवनदायिनी मानी हैं। स्वाभाविक रूप से बहुत सारे जीव-जन्तु और प्राणी पानी के लिए नदियों पर निर्भर हैं। इसलिए नदियों का पानी जीवन के लिए अमृत माना जाता है। नदियों की पौराणिक महत्ता के चलते हमारे देश में तो नदियों को धर्म-आस्था-विश्वास से जोड़ा गया है। उनके पानी को पवित्र मानकर आचमन तक किया जाता है, लेकिन हमारे देश में ही कई नदियों को श्रापित माना गया है। उनका पानी पीने से परहेज करने की हिदायत दी जाती है। वक्त और व्यक्ति की जरूरत पानी से परहेज नहीं कर सकती है। इसलिए इन नदियों का पानी पिया भले जाता है, लेकिन उसके दुष्प्रभावों का अहसास होता है। आज ऐसी ही कुछ नदियों के बारे मे जानते हैं....

चंबल नदी

मध्य प्रदेश में बहने वाली चंबल नदी के बारे में बच्चा-बच्चा जानता है। दरअसल, इस इलाके को डाकुओं का इलाका माना जाता है। हालांकि, अब यहां पर डाकू रहते नहीं है, लेकिन इस नदी को काफी अपवित्र माना जाता है। इस नदी का उद्गम विंध्य पर्वत से हुआ है और यह एमपी के कई जिलों और राजस्थान के कुछ इलाकों से बहते हुए यमुना में समा जाती है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, द्वापर युग में द्रोपदी ने इस नदी को श्राप दिया था। हालांकि, आज लोग इस नदी का पानी पीते अवश्य हैं, लेकिन इसकी पूजा नहीं की जाती। वहीं, एक और मान्यता है इस नदी का उद्गम जानवरों के खून से हुआ था। राजा रतिदेव ने हजारों जानवरों की बलि देकर, उनके खून को इसी नदी में बहने दिया था। तब से लोग इस नदी को श्रापित मानने लगे।

फल्गु नदी

फल्गु नदी बिहार के गया जिले में स्थित है। वैसे तो हिंदू धर्म में भक्त नदी में स्नान कर अपने सारे पापों से मुक्ति पा लेते हैं, लेकिन इस नदी को लोग देवी नहीं बल्कि श्रापित मानते हैं। ऐसी मान्यता है कि माता सीता ने इस नदी को श्राप दिया था, जिसके कारण लोग इस नदी में नहाने से कतराते हैं। कहते हैं इस नदी के पानी को छू लेने मात्र से इंसान के सारे पुण्य नष्ट हो जाते हैं।

 कर्मनाश नदी

ऐसी ही एक और नदी बिहार में ही प्रवाहित होती है, जिसका नाम कर्मनाश नदी है। जैसा कि इसके नाम से ही पता चल रहा है कि इसके पानी को छूने से आपके सारे कर्मों का नाश हो जाता होगा। लोगों का ऐसा मानना है कि जो भी इस नदी के पानी को छू लेता है, उसके सारे बने हुए काम बिगड़ जाते हैं। इसलिए लोग यहां जाने से बचते हैं। यह नदी भारत के श्रापित नदियों की लिस्ट में शामिल है।

कोसी नदी

सभी ने कोसी नदी के बारे में तो अवश्य ही सुना होगा। इस नदी का जिक्र किताबों में भी रहता है। दरअसल, इस नदी को शोक नदी के नाम से भी जाना जाता है क्योंकि इस नदी में हर साल बाढ़ आती है, जिस कारण हजारों की संख्या में लोगों की जान चली जाती है। इसलिए लोग इस नदी को श्रापित और अशुभ मानते हैं और इसके पानी को हाथ नहीं लगाते।

 

 

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