हार के गम से नहीं उबर रही भाजपा, हाईकमान हुआ परेशान

Jan 29, 2019

सुमन त्रिपाठी

भोपाल, 28जनवरी। विधानसभा चुनाव में मिली हार की टीस से मध्यप्रदेश भाजपा अभी तक नहीं उबर पाई है। इसके चलते लोकसभा चुनाव की तैयारियों पर गंभीर असर पड़ रहा है, जो चुनाव में बड़ा नुकसान कर सकता है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह तक पहुंची इस आशय की खुफिया रिपोर्ट से पार्टी हाईकमान में हड़कंप मच गया है। राष्ट्रीय संगठन महामंत्री रामलाल को लोकसभा की तैयारियों के लिए भोपाल आना पड़ रहा है। वे भोपाल में 30 जनवरी को बड़ी बैठक लेंगे।

विधानसभा चुनाव में मिली अप्रत्याशित हार ने मध्यप्रदेश भाजपा को हताशा की कगार पर पहुंचा दिया है। लगभग डेढ़ महीने बाद भी पार्टी के नेता हार के सदमे से उबर नहीं पाए हैं। बीते पंद्रह साल से सत्ता की चकाचौंध में जीने वाले नेताओं को कुछ समझ में ही नहीं आ रहा है कि क्या करें। नेताओं की इस स्थिति के चलते कार्यकर्ताओं ने एकदम खामोशी ओढ़ ली है। लोकसभा चुनाव के लिए प्रभारी बनाए गए उत्तरप्रदेश के मंत्री स्वतंत्र देव सिंह और सह प्रभारी दिल्ली भाजपा के पूर्व अध्यक्ष सतीश उपाध्याय भी सक्रियता नहीं ला पा रहे हैं। इस सबका असर लोकसभा चुनाव की तैयारियों पर पड़ रहा है।

पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के निर्देशन में मध्यप्रदेश में खुफिया तौर पर काम कर रही टीम ने अपनी प्रारंभिक रिपोर्ट में इस स्थिति से हाईकमान को अवगत करा दिया है। बीते करीब एक महीने से मध्यप्रदेश के विभिन्न हिस्सों में सक्रिय अमित शाह की करीब पच्चीस सदस्यों वाली टीम की इस रिपोर्ट में कहा गया है कि अगर अभी भी हालात नहीं सुधरे तो लोकसभा में पार्टी को अपेक्षित सफलता नहीं मिल पाएगी। गोपनीय रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि अगर इस बार आधे ज्यादा टिकट नहीं बदले गए स्थिति बहुत खराब हो सकती है। पार्टी पिछली बार जैसा प्रदर्शन किसी हालत में नहीं दोहरा पाएगी।

रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि मध्यप्रदेश में पार्टी के मोर्चा और प्रकोष्ठों के पदाधिकारियों ने बिल्कुल काम बंद कर दिया है। बड़े नेता भी पार्टी छोड़ अपनी अपनी लोकसभा सीट बचाने की कोशिश में जुट गए हैं। इसके चलते केंद्र की ओर से भेजे जा रहे कार्यक्रम मध्यप्रदेश में नहीं हो रहे हैं। जितने कार्यक्रम हो रहे हैं, उनमें भी सिर्फ फर्ज अदायगी हो रही है। इस रिपोर्ट के बाद अमित शाह सक्रिय हो गए हैं। उन्होंने संगठन महामंत्री रामलाल को मध्यप्रदेश जाने को कहा है। रामलाल 30 जनवरी को भोपाल आ रहे हैं और वे लोकसभा चुनाव की तैयारियों की समीक्षा करेंगे। रामलाल की मौजदूगी में लोकसभा संचालन समितियों तथा लोकसभा के लिए विभिन्न स्तरों पर बनाए गए प्रभारियों और पार्टी पदाधिकारियों की बैठक होगी। इस बैठक में ही नए सिरे कुछ चुनावी कार्यक्रम तय किए जाएंगे। पार्टी को उम्मीद है कि इसके बाद सक्रियता आ जाएगी। पार्टी सूत्रों का कहना है संगठन में जान फूंकने की यह कोशिश अगर ज्यादा सफल नहीं हुई तो अमित शाह भी मध्यप्रदेश में दो तीन कार्यक्रम बना सकते हैं। इसके चलते कुछ कड़े फैसले भी लिए जा सकते हैं। पार्टी के खिलाफ अनर्गल बयानबाजी करने वालों को बाहर का रास्ता दिखाया जा सकता है।