डिप्टी CM अजित पवार ने बारामती से नामांकन भरा:इसी सीट पर भतीजे युगेंद्र का भी नॉमिनेशन

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए नॉमिनेशन फाइल करने का दौर चल रहा है। डिप्टी CM अजित पवार ने सोमवार सुबह बारामती से नामांकन भर दिया है। इसी सीट से अजित के भतीजे युगेंद्र पवार NCP-शरद गुट से उम्मदीवार हैं। युगेंद्र ने भी सोमवार सुबह ही नामांकन भरा। इस दौरान उनके साथ शरद पवार और सुप्रीया सुले भी मौजूद थे।

ठाणे की कोपरी पाचपाखडी सीट से चुनाव लड़ रहे मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे आज नॉमिनेशन फाइल करेंगे। इससे पहले उन्होंने घर पर पूजा की, जिसकी तस्वीरें उन्होंने X पर शेयर की।

उधर, महिम सीट से महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की टिकट पर चुनाव लड़ रहे राज ठाकरे के बेटे अमित ठाकरे ने भी नामांकन भर दिया है। इस दौरान उनके साथ उनके MNS के कई नेता और कार्यकर्ता मौजूद थे। नामांकन भरने की आखिरी तारीख 29 अक्टूबर है।

महाराष्ट्र में सिंगल फेज में 20 नवंबर को चुनाव, 23 नवंबर को रिजल्ट

महाराष्ट्र विधानसभा का कार्यकाल 26 नवंबर को 2024 को खत्म हो रहा है। महाराष्ट्र में महायुति यानी शिवसेना, भाजपा और NCP अजित पवार गुट की सरकार है। एंटी इनकम्बेंसी और 6 बड़ी पार्टियों के बीच बंटने वाले वोट को साधना पार्टी के लिए बड़ी चुनौती होगी।

लोकसभा चुनाव में भाजपा 23 से 9 सीटों पर सिमटी

2024 लोकसभा चुनाव में महाराष्ट्र की 48 सीटों में INDIA गठबंधन को 30 और NDA को 17 सीटें मिलीं।। इनमें BJP को 9, शिवसेना को 7 और NCP को सिर्फ 1 सीट मिली। भाजपा को 23 सीटों का नुकसान हुआ। 2019 लोकसभा चुनाव से NDA को 41 सीटें मिली थीं। 2014 में यह आंकड़ा 42 था। यानी आधे से भी कम।

लोकसभा चुनाव के हिसाब से भाजपा को नुकसान का अनुमान

2024 लोकसभा चुनाव के हिसाब से भाजपा 60 सीटों के आसपास सिमट जाएगी। विपक्षी गठबंधन के एक सर्वे में राज्य की 288 सीटों पर MVA यानी महाविकास अघाड़ी को 160 सीटें मिलने का अनुमान जताया गया है। भाजपा के लिए मराठा आंदोलन सबसे बड़ी चुनौती है। इसके अलावा शिवसेना और NCP में तोड़फोड़ के बाद उद्धव ठाकरे और शरद पवार के साथ लोगों की सिम्पैथी है।

महाराष्ट्र 2019 विधानसभा चुनाव समीकरण

  • 2019 में बीजेपी-शिवसेना गठबंधन था। बीजेपी ने 105 सीटें और शिवसेना ने 56 सीटें जीती। गठबंधन से एनसीपी को 54 और कांग्रेस को 44 सीटें मिलीं थी। भाजपा-शिवसेना आसानी से सत्ता में आ जाती, पर मनमुटाव के कारण गठबंधन टूट।
  • 23 नवंबर 2019 को फड़नवीस ने मुख्यमंत्री और अजीत पवार ने उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली। ये सुबह-सुबह की शपथ थी। पर बहुमत परीक्षण से पहले 26 नवंबर 2019 को दोनों ने इस्तीफा दे दिया। 28 नवंबर 2019 को शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस की महा विकास अघाड़ी सत्ता में आई। इसके बाद शिवसेना और एनसीपी में बगावत हुई और 4 दल बने। लोकसभा चुनाव में शरद और उद्धव को बढ़त मिली। इन्हीं सब पृष्ठभूमि में विधानसभा चुनाव होगा।

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